UCC In India No Need For Uniform Civil Code In Country Maulana Khalid Rasheed Firangi Mahali

UCC In India: बीते महीने जब देश में एक समान नागरिक सहिंता को लेकर विधि आयोग ने देश के लोगों से उनके सुझाव मांगे थे तबसे ही देश में यूसीसी को लेकर बहस छिड़ गई है. गुरुवार (7 जुलाई) को UCC पर ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने एक लिंक जारी कर सबसे राय देने की अपील की है.
यूसीसी पर बिल लाने की बात करते हुए मौलाना खालिद रशीद फिरंगी महली ने कहा कि देश के सभी मुसलमानों को बड़ी तादाद में इसका जवाब देना चाहिए, क्योंकि अगर UCC लागू होता है तो मुस्लिम पर्सनल कानून पर अमल करने से रोका जा सकता है. उन्होंने कहा ऐसा नहीं है कि सिर्फ मुस्लिम ही इसके खिलाफ हैं बल्कि बड़ी तादाद में कई अन्य लोग भी इसके खिलाफ हैं.
यूसीसी की देश में नहीं है कोई जरूरत
मौलाना खालिद रशीद ने कहा कि देश में यूसीसी की कोई जरूरत नहीं है क्योंकि यह सिर्फ मुसलमानों को ही नहीं बल्कि देश के अन्य कई नागरिकों के हितों को भी प्रभावित करता है. उन्होंने सभी मस्जिद के इमामों से जुमा की नमाज से पहले होने वाले खुत्बे में यूनिफॉर्म सिविल कोड के बारे में मुसलमानों को बताने की गुजारिश की है.
साथ ही उन्होंने यह भी अपील करते हुए कहा कि एक जिम्मेदार नागरिक का फर्ज निभाते हुए यूनिफॉर्म सिविल कोड के खिलाफ अपनी–अपनी राय ईमेल या डाक के मध्यम से लॉ कमीशन ऑफ इंडिया को भेजें. मौलान ने तकरीर करते हुए कहा की ये कानून मुस्लिम समाज और कई अल्पसंख्यक समाज पर निगेटिव असर डालेगा और वह इसका विरोध एक भारतीय होने के नाते कर रहे हैं.
क्या मानसून सत्र में पेश किया जाएगा यूसीसी बिल?
बीते महीने के आखिरी हफ्ते में यूसीसी पर तगड़ी बहस तभी शुरु हो गई थी जब खुद पीएम ने भोपाल में बीजेपी कार्यकर्तोओं को संबोधित करते हुए स्पष्ट संदेश दिया था और कहा था कि एक घर में दो कानून नहीं हो सकते हैं, एक घर एक ही कानून से चलता है. ऐसे में एबीपी न्यूज के सूत्रों ने कहा था कि बहुत मुमकिन है कि सरकार मानसून सत्र में ही यूसीसी का ड्राफ्ट सदन में पेश कर दे.
#UCC #India #Uniform #Civil #Code #Country #Maulana #Khalid #Rasheed #Firangi #Mahali